Rajasthan News : आसाराम बापू को अंतरिम जमानत, आश्रम में अनुयायियों ने किया स्वागत
Rajasthan News : 2013 के बलात्कार मामले में राजस्थान उच्च न्यायालय से अंतरिम जमानत मिलने के बाद स्वयंभू धर्मगुरु आसाराम को मंगलवार देर रात राजस्थान के जोधपुर के आरोग्य अस्पताल से छुट्टी दे दी गई।
Rajasthan News : उज्जवल प्रदेश, जयपुर. 2013 के बलात्कार मामले में राजस्थान उच्च न्यायालय से अंतरिम जमानत मिलने के बाद स्वयंभू धर्मगुरु आसाराम को मंगलवार देर रात राजस्थान के जोधपुर के आरोग्य अस्पताल से छुट्टी दे दी गई। बाद में वे जोधपुर के पाल गांव स्थित अपने आश्रम चले गए। अस्पताल के बाहर जमा समर्थकों की भीड़ ने आसाराम का स्वागत किया और उन्हें माला पहनाई। आश्रम पहुंचने पर उनके ‘सेवादारों’ ने आतिशबाजी कर उनका स्वागत किया।
जोधपुर के मणाई आश्रम में नाबालिग से बलात्कार के मामले में गिरफ्तारी के बाद 2 सितंबर, 2013 को आसाराम को जेल में डाल दिया गया था। 25 अप्रैल 2018 को जोधपुर की विशेष पोक्सो अदालत ने उन्हें दोषी ठहराया और आजीवन कारावास की सजा सुनाई। 11 साल, 4 महीने और 12 दिन की सजा काटने के बाद उन्हें स्वास्थ्य आधार पर अंतरिम जमानत दी गई।
राजस्थान उच्च न्यायालय ने आसाराम को उनकी उम्र और बिगड़ते स्वास्थ्य का हवाला देते हुए 31 मार्च तक जमानत दे दी। उनके वकील निशांत बोरदा ने कहा कि जमानत याचिका में गुजरात के एक अलग मामले में जमानत देने के 7 जनवरी के सुप्रीम कोर्ट के पहले के फैसले का हवाला दिया गया है।
अदालत ने जमानत के लिए कुछ शर्तें लगाईं, जिनमें कहा है कि आसाराम अपने अनुयायियों से समूह में नहीं मिल सकते, सभाओं को संबोधित नहीं कर सकते या मीडिया से बात नहीं कर सकते, उन्हें अपने साथ तैनात तीन सुरक्षाकर्मियों का खर्च उठाना होगा। उन्हें देश भर में किसी भी आश्रम में रहने और आश्रम या अस्पताल में इलाज कराने की अनुमति है।
आसाराम ने पहले गुजरात के सूरत में एक आश्रम में एक महिला अनुयायी से जुड़े बलात्कार के मामले में जमानत मांगी थी। सुप्रीम कोर्ट ने उन्हें 7 जनवरी को चिकित्सा शर्तों के आधार पर अंतरिम जमानत दी थी। हालांकि, जोधपुर बलात्कार मामले में उन्हें इस उच्च न्यायालय के फैसले तक कोई राहत नहीं मिली।
आसाराम बापू कई मामलों में दोषी पाए गए
आसाराम को कई मामलों में दोषी पाया गया है, जिसमें जोधपुर केस भी शामिल है। इस मामले में उन्हें 2013 में गिरफ्तार किया गया था और 2018 में नाबालिग से बलात्कार के लिए दोषी ठहराया गया था, जिसमें उन्हें आजीवन कारावास की सजा मिली थी। गांधीनगर के एक अन्य मामले में उन्हें 31 जनवरी, 2023 को गांधीनगर, गुजरात के एक आश्रम में एक महिला से बलात्कार करने के लिए दोषी ठहराया गया और आजीवन कारावास की सजा सुनाई गई। आसाराम की अंतरिम जमानत 31 मार्च तक प्रभावी रहेगी, जिसके बाद आगे के कानूनी फैसले उनकी स्थिति निर्धारित करेंगे।