Dalai Lama News: बौद्ध धर्म के सर्वोच्च धर्मगुरु दलाई लामा को जान का खतरा, खुफिया सूचना के बाद धर्मगुरु को मिली जेड श्रेणी की सुरक्षा

Dalai Lama News: इंटेलिजेंस ब्यूरो द्वारा तिब्बती धर्मगुरु दलाई लामा के खतरे की सूचना मिलने के बाद MHA ने उनको जेड श्रेणी की सुरक्षा देने का निर्णय लिया है। 89 वर्षीय दलाई लामा की सुरक्षा में कुल 33 सुरक्षाकर्मी तैनात रहेंगे।

Dalai Lama News: उज्जवल प्रदेश, नई दिल्ली. केंद्रीय गृह मंत्रालय ने खुफिया जानकारी के आधार पर गुरुवार को तिब्बती धर्मगुरु दलाई लामा को जेड श्रेणी की सुरक्षा देने का निर्णय लिया है.इंटेलिजेंस ब्यूरो द्वारा खतरे की रिपोर्ट मिलने के बाद उनकी सुरक्षा व्यवस्था को बढ़ाया गया है। 89 वर्षीय दलाई लामा की सुरक्षा में कुल 33 सुरक्षाकर्मी तैनात रहेंगे। इसमें उनके आवास पर सशस्त्र स्टेटिक गार्ड के अलावा 24 घंटे सुरक्षा देने वाले निजी सुरक्षा अधिकारी और शिफ्ट में काम करने वाले सशस्र कमांडो शामिल हैं।

इस बढ़ी हुई सुरक्षा व्यवस्था के तहत 89 वर्षीय आध्यात्मिक गुरु को कुल 33 सुरक्षाकर्मी मिलेंगे, जिनमें उनके आवास पर तैनात सशस्त्र स्टैटिक गार्ड, चौबीसों घंटे सुरक्षा प्रदान करने वाले निजी सुरक्षा अधिकारी और शिफ्ट में सशस्त्र अनुरक्षण करने वाले कमांडो शामिल हैं। इसके अतिरिक्त, उनकी सुरक्षा सुनिश्चित करने के लिए प्रशिक्षित ड्राइवर और निगरानी कर्मी हर समय ड्यूटी पर रहेंगे।

33 सुरक्षाकर्मियों में 10 आर्म्ड स्टैटिक गार्ड शामिल हैं जो उनके घर पर रहेंगे। इसके अलावा 6 राउंड द क्लॉक पीएसओ,12 तीन शिफ्ट में आर्म्ड स्कॉर्ट के कमांडो, 2 वॉचर्स शिफ्ट में और 3 ट्रेंड ड्राइवर राउंड द क्लॉक सुरक्षाकर्मी मौजूद रहेंगे।

1959 से भारत में रह रहे दलाई लामा

तिब्बत में चीनी शासन से भागने के बाद तिब्बती आध्यात्मिक गुरु 1959 से भारत में रह रहे हैं। उनके वैश्विक प्रभाव और तिब्बत के इर्द-गिर्द संवेदनशील भू-राजनीतिक तनावों को देखते हुए भारत सरकार उन्हें उच्च-स्तरीय सुरक्षा कवर प्रदान करती है। पिछले कुछ वर्षों में, खुफिया रिपोर्टों ने चीन समर्थित अभिनेताओं सहित विभिन्न संस्थाओं से दलाई लामा के जीवन को संभावित खतरों का संकेत दिया है, जिससे उनकी सुरक्षा भारतीय अधिकारियों के लिए सर्वोच्च प्राथमिकता बन गई है।

कई तरह की होती है सुरक्षा व्यवस्था

बता दें कि भारत सरकार की ओर से देश के कुछ लोगों को खास तरह की सिक्योरिटी दी जाती है। केंद्र सरकार ने सुरक्षा के लिए पांच कैटेगरी बना रखी है। इसमें X, Y, Y+, Z और Z+ शामिल है। खतरे के हिसाब से व्यक्ति को सुरक्षा दी जाती है। कैटेगरी बढ़ने के साथ-साथ खर्चा भी बढ़ता जाता है। किस कैटेगरी की सुरक्षा पर कितना खर्चा होता है, इसकी कोई सटीक जानकारी नहीं है। हालांकि, अनुमान है कि Z+ कैटेगरी की सुरक्षा पर हर महीने 15 से 20 लाख रुपये का खर्चा आता है। सके अलावा एक एसपीजी सिक्योरिटी होती है, जो सिर्फ देश के प्रधानमंत्री को मिली है। एसपीजी एक अलग फोर्स की तरह है, जो सिर्फ प्रधानमंत्री को कवर करती है।

कैसी होगी सुरक्षा व्यवस्था?

33 सिक्योरिटी फोर्सेज में 10 सशस्त्र स्टैटिक गार्ड जो उनके घर पर रहेंगे। वहीं, 6 निजी सुरक्षा अधिकारी (PSO) जो चौबीसों घंटे उनके साथ मौजूद रहेंगे। साथ ही 12 कमांडो जो तीन शिफ्टों में उन्हें सुरक्षा देंगे। 2 वॉचर्स जो शिफ्ट में निगरानी करेंगे। 3 ट्रेंड ड्राइवर, जो हर समय उनके काफिले में साथ रहेंगे। इसके अलावा, उनकी सुरक्षा के लिए विशेष निगरानी और अन्य व्यवस्थाएँ भी लागू की गई हैं।

कौन हैं  बौद्ध धर्म के सर्वोच्च आध्यात्मिक गुरु दलाई लामा?

दलाई लामा का जन्म सन् 1935 में ल्हामो थोंडुप के रूप में हुआ था। जब वे 2 साल के थे, तब उन्हें उनके पूर्ववर्ती तिब्बती धर्मगुरु का पुनर्जन्म माना गया। साल 1940 में उन्हें तिब्बत की राजधानी ल्हासा में 14वें दलाई लामा के रूप में मान्यता दी गई।

वहीं,  1950 में चीन ने तिब्बत पर हमला किया। इसके बाद सन 1959 में चीन के खिलाफ एक विद्रोह असफल हो गया, जिसके कारण दलाई लामा भारत आ गए। तब से वे हिमाचल प्रदेश के धर्मशाला में निर्वासन में रह रहे हैं। उनके अहिंसा और शांति के प्रयासों के लिए सन 1989 में उन्हें नोबेल शांति पुरस्कार से सम्मानित किया गया था।

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